पंजाब में चल रहे किसान आंदोलन की वजह से अभी भी रेल यात्रियों की मुश्किलें कम नहीं हुई है। रेलवे ने बुधवार को पश्चिम बंगाल से आसनसोल जसीडीह और पटना रूट से पंजाब जाने वाली ट्रेनों का रास्ता बदल दिया है। 19 जनवरी को खुली 03005 हावड़ा-अमृतसर मेल बुधवार को ब्यास के बजाय तरनतारन होकर चलाई गई। वापसी में अमृतसर से लौटने वाली ट्रेन को भी बुधवार को इसी रूट से चलाया गया। इसी तरह कोलकाता से बुधवार को चलने वाली अकाल तख्त एक्सप्रेस भी ब्यास के बजाय तरनतारन होकर ही चलेगी। किसान आंदोलन की वजह से दिसंबर से चलने वाली सियालदह अमृतसर जालियां वाला एक्सप्रेस लगातार रद हो रही है।
जागरण संवाददाता, धनबाद : पंजाब में चल रहे किसान आंदोलन की...
more... वजह से अभी भी रेल यात्रियों की मुश्किलें कम नहीं हुई है। रेलवे ने बुधवार को पश्चिम बंगाल से आसनसोल, जसीडीह और पटना रूट से पंजाब जाने वाली ट्रेनों का रास्ता बदल दिया है। 19 जनवरी को खुली 03005 हावड़ा-अमृतसर मेल बुधवार को ब्यास के बजाय तरनतारन होकर चलाई गई। वापसी में अमृतसर से लौटने वाली ट्रेन को भी बुधवार को इसी रूट से चलाया गया। इसी तरह कोलकाता से बुधवार को चलने वाली अकाल तख्त एक्सप्रेस भी ब्यास के बजाय तरनतारन होकर ही चलेगी। किसान आंदोलन की वजह से दिसंबर से चलने वाली सियालदह अमृतसर जालियां वाला एक्सप्रेस लगातार रद हो रही है। धनबाद होकर 22 को चलने वाली ट्रेन के भी रद होने की पूरी संभावना है। सियालदह से 22 को रद होने की वजह से अमृतसर से 25 जनवरी को नहीं चल सकेगी। हालांकि रेलवे ने आधिकारिक तौर पर इस ट्रेन को रद करने की घोषणा अब तक नहीं की है। दूसरी ओर, कोहरे की वजह से धनबाद से खुलने वाली गंगा-सतलज एक्सप्रेस के भी फेरे कम दिए गए हैं। इस वजह से 21 जनवरी को ट्रेन रद रहेगी। कोहरे में फंसी दोनों राजधानी , लेट आई धनबाद
इधर कोहरे के कारण हावड़ा और सियालदह नई दिल्ली राजधानी एक्सप्रेस रोजाना लेट हो रही है। घने कोहरे की वजह से नई दिल्ली लेट पहुंचने से वापसी में लेट खुल रही है और इस कारण धनबाद भी लेट आ रही है। मंगलवार की दोनों नई दिल्ली हावड़ा और नई दिल्ली सियालदह राजधानी लगभग दो घंटे लेट से खुली। देर से खुलने के कारण बुधवार को लगभग ढाई घंटे लेट से धनबाद पहुंची। हालांकि 20 जनवरी को कोहरे का असर कम होने से रेलवे ने राजधानी एक्सप्रेस के समय से खुलने की सूचना जारी की है।